JMI Assistant Professor recruitment, जामिया मिलिया इस्लामिया ( JMI ), दिल्ली ने असिस्टेंट प्रोफेसर एवं गेस्ट टीचर के 255 रिक्त पदों पर भर्ती के लिए आवेदन आमंत्रित किए हैं। इच्छुक व योग्य उम्मीदवार निर्धारित प्रारूप के तहत 13 जुलाई 2018 तक या इससे पहले आवेदन कर सकते हैं।
jamia millia islamia सेंट्रल यूनिवर्सिटी में रिक्त पदाें का विवरणः
कुल पद - 255
असिस्टेंट प्रोफेसर (Assistant Professor ) - 18 पद
गेस्ट टीचर ( Guest Teacher )- 27 पद
फैकल्टी एजुकेशन
असिस्टेंट प्रोफेसर- 24 पद
फैकल्टी नेचुरल साइंस
असिस्टेंट प्रोफेसर- 13 पद
गेस्ट टीचर- 21 पद
फैकल्टी सोशल साइंस
असिस्टेंट प्रोफेसर- 21 पद
गेस्ट टीचर- 16 पद
फैकल्टी लॉ
असिस्टेंट प्रोफेसर- 4 पद
गेस्ट टीचर- 9 पद
फैकल्टी फाइन आर्ट्स
असिस्टेंट प्रोफेसर- 5 पद
गेस्ट टीचर- 3 पद
फैकल्टी ह्यूमैनिटीज एंड लैंग्वेज
असिस्टेंट प्रोफेसर- 29 पद
गेस्ट टीचर- 29 पद
सेंटर्स
असिस्टेंट प्रोफेसर- 8 पद
गेस्ट टीचर- 28 पद
jmi guest teacher व Professor के रिक्त प पदाें पर शैक्षणिक योग्यता एवं अनुभव:
अच्छा एकेडमिक रिकॉर्ड, कम से कम 55% अंकों से मास्टर डिग्री या समकक्ष एवं नेट/स्लेट/सेट या पीएचडी होना चाहिए।
अधिक जानकारी के लिए नीचे दिए विस्तृत अधिसूचना लिंक पर जायें।
आवेदन कैसे करें:
योग्य उम्मीदवार निर्धारित प्रारूप के तहत आवश्यक दस्तावेजों के साथ 13 जुलाई 2018 तक या इससे पहले अपना आवेदन सम्बन्धित विभाग, सेंटर को भेज सकते हैं।
अधिसूचना विवरण:
विज्ञापन संख्या- 06/2018-19
महत्वपूर्ण तिथि:
आवेदन की अंतिम तिथि- 13 जुलाई 2018
Jamia Millia Islamia recruitment 2018:
जामिया मिलिया इस्लामिया ( JMI ), दिल्ली में असिस्टेंट प्रोफेसर एवं गेस्ट टीचर के 255 रिक्त पदों पर भर्ती के लिए विस्तृत अधिसूचना यहां क्लिक करें।
जामिया मिलिया इस्लामिया ( JMI ), दिल्ली का परिचयः
जामिया मिल्लिया इस्लामिया संयुक्त प्रांत, भारत के अलीगढ़ में मूल रूप से 1920 में एक संस्था के रूप में स्थापित किया गया।1988 में भारतीय संसद के अधिनियम द्वारा एक केंद्रीय विश्वविद्यालय बना । उर्दू भाषा, में जामिया का अर्थ है विश्वविद्यालय, और मिल्लिया का अर्थ है ‘राष्ट्रीय‘।
आजादी के पूर्व नई दिल्ली में स्थित एक छोटी सी संस्था से केन्द्रीय विश्वविद्यालय तक इसके विकास की कहानी - नर्सरी से एकीकृत शिक्षा में विशेष क्षेत्रों में अनुसंधान के लिए प्रस्तुत - लोगों के समर्पण, दृढ़ विश्वास की गाथा है, जो सभी बाधाओं को पार करते हुए कदम बढ़ाते रहे। भारत कोकिला सरोजिनी नायडू‘ के अनुसार उन्होने ”तिनका-तिनका जोड़कर और तमाम कुर्बानियाँ देकर जामिया का निर्माण किया।”
from Patrika : India's Leading Hindi News Portal http://bit.ly/2KQ18qk
0 comments:
Post a Comment